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आपको जानकर हैरानी होगी कि हमारा दिमाग सिकुड़ भी सकता है जिससे हमें कोई मनोरोग हो सकता है, अगर हम करीबन 90 मिनट तक पसीने में तरबतर रहे तो।
अगर कोई व्यक्ति नींद ना आने पर नींद की गोली खाता है तो वास्तविकता में वह सोया नहीं होता
बल्कि गोली के कारण कोमा जैसी अवस्था में चला जाता है।
यूं तो हमारा छोटा सा दिमाग संपूर्ण शरीर का मात्र 2% होता है परंतु अचंभे वाली बात यह है
कि यह पूरे शरीर का 20% रक्त और ऑक्सीजन अकेले ही इस्तेमाल कर लेता है।